बुधवार, 28 जनवरी 2015

ओबामा संदेश




ओबामा जी विश्व में जितनी धार्मिक स्वतंत्रता सनातनी संस्कृति के बर्चस्व के कारण भारत में है उतनी किसी समाज व देश में नहीं है
-क्या अमेरिका, रूस, चीन, ब्रिट्रेन, जर्मन में अन्य धर्म/मत वाले सर्वोच्च पद पर आसीन हो सकते है? नहीं?
-किसी मुसलिम बाहुल्य देशों में अन्य धर्म के लोग सर्वोच्च पदों पर तो रहे दूर समान नागरिक अधिकार तक नहीं है
-जबकि भारत में संसार भर में जिन यहुदियों का कत्लेआम किया गया उनको न केवल शरण दी अपितु विकास का पूरा सम्मानजनक अवसर दिया ।
-भारत ही दुनिया का एकमात्र देश है जहां चीन द्वारा काबिज किये गये तिब्बतियों को अपनी निर्वासित सरकार चलाने का अवसर दिया है।
-क्या संसार में कोई ऐसा देश है जहां बहुसंख्यक व देश के मूल धर्म के आराध्य को काल्पनिक कहने साहस वहां की सरकार ने बेशर्म से किया
-संसार में एक मात्र ऐसा देश भारत है जहां जनसंख्या पर नियंत्रण व तलाक आदि के सारे कानून केवल बहुसंख्यकों पर ही लागू होते है जबकि अल्पसंख्यकों को छूट दे रखी है
-संसार में एक मात्र देश भारत है जहां बहुसंख्यक समाज के आराध्यों के अवतरण भूमि पर विदेशी आक्रांताओं की स्मृति बनाने की जिद्दोजहद की जा रही है।
-भारत ही एकमात्र देश है जहां अपनी भाषा, अपने नाम को अपनाने के बजाय देश को गुलाम बनाने वालों की भाषा अंग्रेजी व दिया गये नाम को आत्मसात किया है।
-भारत ही एकमात्र संसार का एकलोता देश है जहां बहुसंख्यक धर्म के मूलाधार (गौ), गंगा व संस्कृति पर कुठाराघात किया जाता है।
-इस सबके बाद भी भारतीय समाज का बहुसंख्यक वर्ग कभी इस देश में मात्र अपने अधिकार के लिए नहीं अपितु सबके कल्याण के लिए जीता है।
-हाॅ भारत की सहिष्णुता व विश्वबंधुत्व की मूल प्रवृति का लाभ उठा कर लम्बे समय से विदेशी आक्रांता इस संस्कृति को समाप्त करने के लिए यहां सेवा के नाम पर धर्मांतरण का आत्मघाती कार्य कर रहे है, जिसके कारण भारत को उसकी भाषा, नाम, संस्कृति व इतिहास से दूर रखने का एक सोची समझा षडयंत्र किया जा रहा है। इसी कारण आज कश्मीर, असम सहित पूर्वोत्तर, बंगाल, केरल, दक्षिण भारत, उप्र, मध्य प्रदेश, उडिसा, छत्तीसगढ़, बिहार, झारखण्ड ही नहीं उत्तराखण्ड भी इसकी चपेट में आ गया हैं। इन षडयंत्रों को देख कर ही भारत में कुछ प्रबुद्ध लोग इन पर अंकुश लगाने की बात कर रहे हैं। इसी को ये तत्व धार्मिक हमला कह कर कुप्रचार कर रहे है।
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