रविवार, 19 जुलाई 2020

प्रेमिकाएँ जामुन हैँ / अरुणेश मिश्र



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प्रेमिकाएं जामुन हैँ
खट्टी मीठी
चिकनी
सुन्दर
आकर्षक
गूदेदार
स्वादिष्ट
कालीघटा वाली
गुठलीदार
इसे नमक के साथ खाइए
पूरा आनन्द पाइए
कुछ लोग इसे बिना
नमक के
खाते हैँ
उन सब के मुँह
बकठाते हैँ
जामुन का रंग पक्का
बिल्कुल पक्का
इन्द्रधनुषी
मिटाए मिटता नहीँ
छुटाए छुटता नहीँ
आप कहीँ से भी
जामुन खाकर आइए
चाहे जितना छिपाइए
पता चल जाएगा
ऐसे मेँ कोई
भला आदमी किस तरीके
से घर के बाहर
जामुन खाएगा
जामुन के शौकीन
इसे मेले से
ठेले से
बाजार से
सडक से
खरीद कर लाते हैँ
फिर इसे इत्मीनान से खाते हैँ
जो बेहद शौकीन हैँ
वह इसे पेड पर चढकर
खाते हैँ
कभी कभी जामुन खाने
के चक्कर मेँ
हाथ पाँव भी
टूट जाते जाते हैँ
मामला तब रोचक
हो जाता है
जब जामुन के स्वाद मे
खोए हुए लोग
स्वयँ भी जामुन के साथ
टूट जाते हैँ
और गिरते समय
प्राण भी छूट जाते हैँ ।
- अरुणेश मिश्र

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